[Verse 1]
तुम्हारे बदन की महक ख़्वाब सी है
मैं चाहूँ की इस में ही खोई रहूँ
मैं सुबहों को बाँहों में अपनी छुपा के
तेरे साथ यूँ ही मैं सोई रहूँ
पूरे दिन बस तुझे देखते-देखते
[Chorus]
पहले भी मैं तुमसे मिली हूँ
पहली दफ़ा ये मिल के लगा
तूने छुआ ज़ख़्मों को मेरे
मरहम-मरहम दिल पे लगा
[Verse 2]
पागल-पागल हैं थोड़े
बादल-बादल हैं दोनों
भीगें, बरसें, आ दोनों ज़रा
[Chorus]
पहले भी मैं तुम से मिली हूँ
पहली दफ़ा ये मिल के लगा
तुम्हारे बदन की महक ख़्वाब सी है
मैं चाहूँ की इस में ही खोई रहूँ
मैं सुबहों को बाँहों में अपनी छुपा के
तेरे साथ यूँ ही मैं सोई रहूँ
पूरे दिन बस तुझे देखते-देखते
[Chorus]
पहले भी मैं तुमसे मिली हूँ
पहली दफ़ा ये मिल के लगा
तूने छुआ ज़ख़्मों को मेरे
मरहम-मरहम दिल पे लगा
[Verse 2]
पागल-पागल हैं थोड़े
बादल-बादल हैं दोनों
भीगें, बरसें, आ दोनों ज़रा
[Chorus]
पहले भी मैं तुम से मिली हूँ
पहली दफ़ा ये मिल के लगा
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